
मैं भीड़ में, तनहा सा, गमजदा सा, मैं तमाशा,
तेरे साथ थी सारी आशा, अब निराशा, और हताशा |….
*
खुद को रोकने की सजा, मैं कब से खुद को दे रहा,
ये सोचने की जगह, क्यों CAREER मेरा मंद पड़ा,
थी रौशनी तलाश में, हताश मैं, खोया रहा था ताश में,
फिर आग में, जब जलने लगे सपने, हो गये राख से,
इस आस में, हूँ ख़ास मैं, और बच निकलूंगा धुंए से,
एक सांस में, फिराक में, मैं चल पड़ा था जाने किस रास्ते,
FLASHBACK, आने लगे, आँखों के मेरी सामने,
से जाने लगे, छूट के मेरे हाथ से, वो डूबे अन्धकार में,
NIGHTMARES,
मेरी Day Life पे Proud, मुझे nightmares ने जकड़ा,
दिन भर ये crowd साथ, रात भर का लफड़ा,
कहने को होता मुझे hangover ये तगड़ा,
फिर भी 8 बजते करू पीने को झगड़ा |
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मैं भीड़ में, तनहा सा गमजदा सा, मैं तमाशा,
तेरे साथ थी सारी आशा, अब निराशा, और हताशा |
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बिना मांगे वो मिला तो कैसे पास मैं रखूँ,
तेरा दिल है जैसे पत्थर कैसे आस मैं रखूँ
जज़्बात ना रखूं मैं किसी और का तो,
फिर क्यों खाली कागजी बयान पे विश्वास मैं रखूँ?
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दरख्वास्त है मेरी थोड़ा दूर हो corrupt,
अपनी फालतू की बातों से न करना interrupt, वरना
Abrupt सी लगेगी तेरे गाल पे वो थप्पड़,
जो कर दे मुंह को लाल और जुबान को निशब्द |
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मैं भीड़ में, तनहा सा गमजदा सा, मैं तमाशा,
तेरे साथ थी सारी आशा, अब निराशा, और हताशा |
One thought on “मैं भीड़ में तनहा सा – Hindi Rap”
Motivational much needed like this💞